Patna: 23 जून को बिहार की राजधानी पटना में विपक्षी दलों के तमाम दिग्गज जुटेंगे, जहां भारतीय जनता पार्टी को रोकने के लिए रणनीति बनेगी. विपक्षी पार्टियों के इस महाजुटान और मिशन 2024 को लेकर झारखंड में सियासी बयानबाजी अपने चरम पर है. बीजेपी विपक्षी दलों पर कटाक्ष कर रही है तो वही विपक्ष बीजेपी को उनकी एकजुटता से घबराया हुआ बता रहा है.
बीजेपी ने कसा तंज
विपक्षी एकजुटता पर तंज कसते हुए बीजेपी प्रदेश अध्यक्ष दीपक प्रकाश ने कहा कि पूरे विपक्ष की तबीयत खराब है क्वॉरेंटाइन में रहने वाले नेता नरेंद्र मोदी से टक्कर नहीं ले सकते पटना में भ्रष्टाचार करने वालों की मिलन समारोह है और उनके संयोजक नीतीश कुमार है. वहीं उन्होंने कहा कि अगर 23 जून की जगह 25 जून को बैठक होती तो नीतीश कुमार को यह पता चलता कि कांग्रेस के कारण ही लोकतंत्र की हत्या हुई थी और नीतीश कुमार को जेल जाना पड़ा था.
कांग्रेस ने किया पलटवार
बीजेपी के बयान पर पलटवार करते हुए कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष राजेश ठाकुर ने कहा कि हम लोग पूरे विपक्ष की एकता के लिए लगातार कवायत कर रहे हैं. हम लोग यह चाहते हैं कि देश में यह निकम्मी सरकार है. ये भ्रष्ट सरकार है जो मुद्दों से मुंह मोड़ कर के विदेशों से विदेशों में भ्रमण करने वाली सरकार है उसको सत्ता से उखाड़ फेंके.
राजेश ठाकुर ने कहा कि मैं समझता हूं कि इसमें व्यापक सहयोग भी मिल रहा है. तमाम विपक्षी दल अगर सही नियत के साथ एकता के साथ सोचेंगे तो विपक्षी एकता मजबूती से होगी और आने वाले समय में ठीक करने का काम करेंगे जो सरकार केवल अहंकार में है उसको उखाड़ सकेंगे.जेएमएम भी विपक्ष के वार पर हमलावर है. जेएमएम नेता मनोज पांडेय ने कहा कि अगर विपक्ष एकजुट हो रहा है तो स्वाभाविक है कि बीजेपी के पेट में दर्द होगा. क्योंकि एक एक करके 16 राज्यों से बीजेपी का सफाया हो चुका है और अब यह सिलसिला चल पड़ा है. वहीं, उन्होंने कहा कि अभी तीन चार राज्यों में चुनाव और होने हैं और वहां से भी भाजपा का सूपड़ा साफ हो जाएगा और 2024 मैं उसका असर दिखेगा. नीतीश कुमार की भूमिका को सकारात्मक पहल बताते हुए उन्होंने कहा कि इसमें हमारे मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन भी महत्वपूर्ण भूमिका निभा रहे हैं और मुझे लगता है इस बैठक के सकारात्मक नतीजे निकलेंगे.