दरिंदे का जब इतने से भी मन नही भरा तो लड़की का गला दबाकर जान से मारने का प्रयास भी किया, जब लड़की बेहोश हो गई तो उसने उसे मरा समझकर फरार हो गया. घटना के बाद नाबालिक कई घंटे तक लहूलुहान अवस्था में वहीं पड़ी रही. जब उसे होश आया तो वह किसी तरह से अपने घर पहुंची और परिजनों को मामले की जानकारी दी. परिजनों ने सिमुलतला पुलिस थाना में इसकी शिकायत दर्ज कराई है. पुलिस ने पीड़िता को इलाज के लिए झाझा अस्पताल में भर्ती कराया. जहां डॉक्टर के द्वारा इलाज करने के बाद गंभीर स्थिति होने के कारण उसे बेहतर इलाज के लिए जमुई सदर अस्पताल रेफर कर दिया गया है.घटना को लेकर 12 वर्षीय पीड़िता ने बताया कि वह अपनी तीन सहेलियों के साथ शाम के वक्त तालाब किनारे खेल रही थी. जब उसकी दो सहेली घर चली गई. तभी पीछे से गांव का एक लड़का वहां आया और उसे पकड़ लिया. उसने मारपीट करके गलत काम करना चाहा, लेकिन जब हम नहीं करने दिए तो पत्थर से मारा और गला दबा दिया. हम बेहोश हो गए. होश आने पर हम किसी तरह घर पहुंचकर पापा मम्मी को सारी बात बताई. घटना के बारे में नाबालिग बच्ची के पिता जानकी यादव ने बताया की मतलू तुरी का बेटा ननकु तुरी ने इस घटना को अंजाम दिया है.