बिहार में 'सुशासन बाबू' यानी नीतीश कुमार की सरकार में बेखौफ अपराधी कानून-व्यवस्था की धज्जियां उड़ाने में जुटे हैं और पुलिस सिर्फ छानबीन करती रह जाती है. प्रदेश की राजधानी भी अब सुरक्षित नहीं रही है. राजधानी पटना में हच्या, लूट और रेप जैसे जघन्य अपराध हर रोज अखबारों की सुर्खियां बनते हैं. इसी कड़ी में अब बिहार के पॉश इलाके में डकैती की खबर सामने आई है. डकैतों ने इस बार सीधे-सीधे सरकार को चैलेंज किया है. दरअसल, पटना में बेखौफ बदमाशों ने जेडीयू प्रदेश उपाध्यक्ष के घर को अपना निशाना बनाया और डकैती डाली. जानकारी के मुताबिक, डकैतों ने हथियार के बल पर पूरे परिवार को बंधक बनाकर दस लाख के गहनों और 40-50 हजार की नकदी लूट ली.यह घटना गोपालपुर थाना के मनोहरपुर कछुआरा में हुई. जानकारी के मुताबिक, करीब 30 से 40 की संख्या में बदमाश जेडीयू प्रदेश उपाध्यक्ष मनीष पटेल के घर में घुस गए. डकैतों ने मनीष पटेल और उनके पूरे परिवार को हथियार के बल पर बंधक बनाकर तकरीबन 2-3 घंटे तक पूरे घर को खंगाला. उन्होंने घर के सारे लॉकर तोड़ दिए. इस दौरान दस लाख के सोने के जेवरात व 38 हजार रुपये नकद लेकर कर चंपत हो गए. जाने के दौरान घर के लोगों का मोबाइल डकैतों ने घर के बाहर खेत में फेंक दिया. बताया जा रहा है कि सभी अपराधी 20-30 साल के बीच में थे और सभी ने गमछा और बनियान पहन रखा था. फुलवारीशरीफ इलाके में बीते 3 दिनों में डकैती की ये दूसरी वारदात है. इससे पहले गौरीचक थाना क्षेत्र के चिपुरा में डकैती पड़ी थी. पुलिस चिपुरा में डकैती की वारदात में शामिल बदमाशों को पकड़ भी नहीं पाई थी कि वहां से करीब ढाई किलोमीटर की दूरी पर बैरिया और कछुआरा गांव के बीच सुनसान इलाके में जेडीयू नेता के घर डाका पड़ गया. इस घटना से पटना पुलिस की नाइट पेट्रोलिंग सवालों के घेरे में है. वहीं जब सरकार में शामिल लोग सुरक्षित नहीं है, तो भला आम आदमी की सुरक्षा की गारंटी कौन लेगा?