रांची के खलारी थाना क्षेत्र स्थित चूरी में सेंट्रल कोलफील्ड्स लिमिटेड (सीसीएल) की माइंस के पास सोमवार दोपहर हथियारबंद अपराधियों ने अंधाधुंध फायरिंग कर दहशत फैला दी. इस गोलीबारी में सीसीएल का एक कर्मचारी प्रदीप साव घायल हो गया, जिसे इलाज के लिए रांची के एक अस्पताल में भर्ती कराया गया. डॉक्टरों के अनुसार, प्रदीप साव की हालत खतरे से बाहर है.
अपराधियों ने करीब दस राउंड की फायरिंग
जानकारी के अनुसार, तीन बाइक पर सवार होकर आए अपराधियों ने चूरी परियोजना के मुख्य द्वार के पास लगभग आठ से दस राउंड फायरिंग की. अचानक हुई इस गोलीबारी से मौके पर भगदड़ मच गई. लोग अपनी जान बचाने के लिए इधर-उधर भागने लगे. इसी दौरान ड्यूटी खत्म कर घर जाने के लिए निकले सीसीएल कर्मचारी प्रदीप साव को अपराधियों ने रोककर उससे पूछताछ की और फिर उसके पैर में गोली मार दी.
सीआईएसएफ कैंप के पास हुई वारदात, पुलिस कर रही जांच
घटना स्थल के पास ही सीआईएसएफ (सेंट्रल इंडस्ट्रियल सिक्योरिटी फोर्स) का कैंप मौजूद था, लेकिन इसके बावजूद अपराधी आराम से बाइक पर सवार होकर फरार हो गए. सूचना मिलते ही खलारी थाने की पुलिस मौके पर पहुंची. जांच में यह आशंका जताई जा रही है कि इस हमले के पीछे प्रतिबंधित उग्रवादी संगठन टीपीसी (तृतीय प्रस्तुति कमेटी) का हाथ हो सकता है. माना जा रहा है कि लेवी वसूली को लेकर डर पैदा करने के लिए यह फायरिंग की गई थी.
लगातार बढ़ रही हैं आपराधिक घटनाएं
घटनास्थल पर खलारी के डीएसपी राम नारायण चौधरी, सीआईएसएफ के डिप्टी कमांडेंट समेत अन्य पुलिस अधिकारी पहुंचे और स्थिति का जायजा लिया. दिनदहाड़े हुई इस वारदात के बाद पूरे खलारी कोयलांचल क्षेत्र में भय का माहौल बना हुआ है. उल्लेखनीय है कि इससे पहले दिसंबर महीने में भी इसी इलाके में अपराधियों ने कोयला ट्रांसपोर्टिंग में लगे तीन हाइवा ट्रकों को आग के हवाले कर दिया था और दहशत फैलाने के लिए फायरिंग की थी.
राज्य में अपराधियों के हौसले बुलंद
झारखंड में लॉ एंड ऑर्डर को मजबूत करने के तमाम दावों के बावजूद अपराधियों के हमले लगातार बढ़ते जा रहे हैं. पिछले चार महीनों में ऐसी सात घटनाएं सामने आ चुकी हैं, जहां कंस्ट्रक्शन और ट्रांसपोर्टिंग कंपनियों को निशाना बनाया गया. राज्य में सक्रिय कई आपराधिक गिरोह रंगदारी और लेवी वसूली के लिए इस तरह की घटनाओं को अंजाम दे रहे हैं.